चोरी के मामले में बरेली क्षेत्र बना नंबर वन, मिलीभगत से परिवहन निगम को रोज लगता हैं लाखों का चूना

  •   एक बार फ़िर टी आई ने पकड़े बिना टिकट  सात यात्री, परिचालक बर्खास्त
  • यात्रियों ने कहा बैठे 80 किमी पीछे से,लेकिन नहीं मिला टिकट

नेशन स्टेशन डेस्क 



बदायूं। परिवहन निगम का बरेली क्षेत्र एकबार फिर से भ्रष्टाचार के मामले में अव्वल हुआ है।  उत्तर प्रदेश परिवहन निगम प्रशाशन  को लगातार  मिल रही शिकायतों के फलस्वरूप चेकिंग अभियान को तेज कर दिया गया है। हालाकि बिना टिकट यात्रियों को यात्रा करा रहे परिचालकों के हौसले बुलंद होते भी साफ़ देखा जा सकता हैं। यह देखकर साफ कहा जा सकता हैं कि बग़ैर विभागीय मिलीभगत के इस तरह के अंजाम संभव तो नहीं है। जिसके चलते प्रति माह लाखो रुपये का  चूना निगम प्रबंधन को लगाया जा रहा है। बताते चले क मामला बदायू डिपो की बस संख्या UP25 BT 1571 है। बस परिचालन हेतु मार्ग बदायू-जरियनपुर-आनन्द विहार पर परिचालक बिजेन्द्र पाल व चालक राजकुमार के द्वारा संचालित की जा रही थी,तभी उझानी स्टाप पर चेकिंग दस्ते के ए टी आई अभिषेक कुमार व रजनीश कुमार द्वारा बस का 20:40 बजे औचक निरीक्षण किया गया तो कुल यात्री 18 मिले,जिसमे 7 यात्री बिना टिकट यात्रा करते पाये गए । जिसके बाद चेकिंग दस्ते ने परिचालक पर 5498 रुपये का जुर्माना लगाते  हुए परिचालक की रिपोर्ट बदायूं डिपो के सहायक क्षेत्रीय प्रबन्धक को भेज दी गयी है। वहीं यात्रियों  का  साफ कहना था कि  हम लगभग 80 किमी पीछे  से बैठें हैं। किराया लेने के बावजूद परिचालक ने सभी यात्रियों को टिकट नहीं दिया हैं। 

पहले भी पकड़े जा चुके हैं ये मामले


मिलीभगत से टिकट धांधली के मामले में  पहले भी सस्पेंड हो चुके हैं भूप सिंह व सत्यपाल टी आई, जिसके बाद हर 15 दिनों में चेकिंग टीम की ड्यूटी बदलने के लिए निगम प्रबंधन ने निर्देश दिए थे । वहीं जब क्षेत्रीय प्रबंधक  आर के त्रिपाठी से मामले के बाबत जानकारी के लिए फोन किया गया तो साहब ने फोन उठाना भी ज़रूरी नहीं समझा।

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